H-1B Visa Alternatives: अमेरिका में काम करने का सपना देखने वाले हजारों भारतीय प्रोफेशनल्स के लिए H-1B वीजा लॉटरी एक महत्वपूर्ण मौका होती है। लेकिन हर साल सिर्फ 85,000 वीजा उपलब्ध होते हैं, जबकि लाखों आवेदन आते हैं। इसमें 20,000 वीजा तो उन लोगों के लिए रिजर्व हैं जिन्होंने अमेरिकी संस्थानों से एडवांस डिग्री ली है। ऐसे में कई योग्य उम्मीदवार पीछे रह जाते हैं और कंपनियों के सामने अपने बेहतरीन इंटरनेशनल टैलेंट को बनाए रखने की चुनौती आ जाती है।
निराश होने की जरूरत नहीं-
LawQuest की मैनेजिंग पार्टनर और इमिग्रेशन एक्सपर्ट पूर्वी चोथानी का कहना है, कि H-1B लॉटरी में नहीं चुने जाने का मतलब यह नहीं कि आपका अमेरिकन ड्रीम खत्म हो गया। उन्होंने ET में प्रकाशित अपने गेस्ट कॉलम में बताया, कि सही प्लानिंग और स्ट्रैटेजी के साथ कई अन्य विकल्प मौजूद हैं जो आपको अमेरिका में लीगली काम करने या बाद में वापस आने का मौका दे सकते हैं।
अगले साल की तैयारी अभी से शुरू करें-
अगर इस साल लॉटरी में चयन नहीं हुआ तो घबराने की जरूरत नहीं। अगले साल के लिए अभी से प्लानिंग शुरू कर दें। USCIS कभी-कभी अतिरिक्त लॉटरी भी आयोजित करता है अगर शुरुआत में चुने गए आवेदक आगे नहीं बढ़ते। सभी डॉक्यूमेंट्स पहले से तैयार रखें और USCIS की पॉलिसी अपडेट्स पर नजर रखें।
कैप-एग्जेम्प्ट H-1B का फायदा उठाएं-
कुछ संस्थानों को H-1B की वार्षिक कैप से छूट मिली हुई है। इनमें नॉन-प्रॉफिट यूनिवर्सिटीज, रिसर्च संस्थान और सरकारी रिसर्च सेंटर शामिल हैं। इन जगहों पर आप बिना लॉटरी के साल भर काम कर सकते हैं। अगर आप किसी कैप-एग्जेम्प्ट संस्थान में काम करते हैं तो कोई दूसरी कंपनी भी आपके लिए कंकरंट एम्प्लॉयमेंट फाइल कर सकती है।
L-1 वीजा से इंट्राकंपनी ट्रांसफर-
अगर आपकी कंपनी की विदेश में ब्रांच है तो L-1 वीजा एक शानदार विकल्प है। इसके लिए आपको विदेशी ऑफिस में कम से कम एक साल लगातार काम करना होगा। आपकी पोजीशन मैनेजेरियल, एग्जीक्यूटिव या स्पेशलाइज्ड नॉलेज वाली होनी चाहिए। यह वीजा आपको परमानेंट रेजिडेंसी के रास्ते भी खोल सकता है।
O-1 वीजा एक्सट्राऑर्डिनरी टैलेंट के लिए-
अगर आप अपने फील्ड में असाधारण योग्यता रखते हैं तो O-1 वीजा आपके लिए बेहतरीन ऑप्शन है। साइंस, एजुकेशन, आर्ट्स, बिजनेस या स्पोर्ट्स में उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल करने वालों के लिए यह वीजा डिजाइन किया गया है। नेशनल या इंटरनेशनल अवार्ड्स, पब्लिकेशन्स या अपने क्षेत्र में मौलिक योगदान इसके लिए जरूरी हैं।
कंट्री-स्पेसिफिक वीजा के ऑप्शन्स-
ऑस्ट्रेलियाई नागरिकों के लिए E-3 वीजा, कनाडा और मेक्सिको के नागरिकों के लिए TN वीजा, और चिली व सिंगापुर के लोगों के लिए H-1B1 वीजा उपलब्ध हैं। इन वीजा में कम कॉम्पिटिशन होती है और मंजूरी मिलने की संभावना ज्यादा रहती है।
J-1 वीजा इंटर्न और ट्रेनी के लिए-
J-1 वीजा प्रोफेशनल एक्सपीरियंस हासिल करने का अच्छा तरीका है। J-1 ट्रेनी वीजा उनके लिए है जिनके पास डिग्री और एक साल का वर्क एक्सपीरियंस है, जबकि J-1 इंटर्न वीजा करंट स्टूडेंट्स या हाल के ग्रेजुएट्स के लिए है। हालांकि यह परमानेंट एम्प्लॉयमेंट वीजा नहीं है, लेकिन अमेरिकी वर्क एक्सपीरियंस पाने का शानदार मौका देता है।
एजुकेशन कंटिन्यू करें-
F-1 OPT पर रहने वाले एम्प्लॉईज आगे की पढ़ाई जारी रख सकते हैं। STEM फील्ड में डिग्री वालों को 24 महीने का अतिरिक्त एक्सटेंशन मिल सकता है, जिससे वे तीन साल तक अमेरिका में काम कर सकते हैं। कुछ यूनिवर्सिटीज Day 1 CPT प्रोग्राम भी ऑफर करती हैं, लेकिन इनका चयन सावधानी से करें।
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ग्रीन कार्ड स्पॉन्सरशिप का विकल्प-
हालांकि यह लॉन्ग-टर्म ऑप्शन है, लेकिन एम्प्लॉयमेंट-बेस्ड ग्रीन कार्ड प्रोसेस शुरू करना कंपनी की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। यह तुरंत वर्क ऑथराइजेशन तो नहीं देता, लेकिन परमानेंट रेजिडेंसी का रास्ता खोलता है।
चोथानी का निष्कर्ष है, कि H-1B लॉटरी में नहीं चुने जाने को सेटबैक की जगह एक नया मौका मानना चाहिए। वैल्यूएबल इंटरनेशनल टैलेंट के लिए अमेरिकी कंपनियों में योगदान देने के कई रास्ते मौजूद हैं। HR प्रोफेशनल्स को चाहिए कि वे एक्सपीरियंस्ड इमिग्रेशन अटॉर्नी के साथ मिलकर काम करें और प्रभावित एम्प्लॉईज के साथ पारदर्शी और सहयोगी संवाद बनाए रखें।
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