Benefits of Having Cat: क्या आपने कभी सोचा है, कि बिल्ली के साथ कुछ पल बिताने के बाद आप इतना अच्छा क्यों महसूस करते हैं? जब आप किसी बिल्ली को प्यार से सहलाते हैं, तो एक अजीब सी शांति और सुकून मिलता है। यह महज़ आपकी कल्पना नहीं है, बल्कि इसके पीछे एक ठोस वैज्ञानिक कारण है। हाल के शोधों ने यह साबित किया है, कि बिल्लियां न केवल आपके दिल को छूती हैं, बल्कि आपके दिमाग की रसायनिक संरचना को भी प्रभावित करती हैं।
स्वतंत्र स्वभाव के पीछे छिपी प्यार की केमिस्ट्री-
बिल्लियों को अक्सर स्वतंत्र और थोड़ा अलग रहने वाले पालतू जानवरों के रूप में देखा जाता है। कुत्तों की तुलना में वे कम भावुक नज़र आती हैं और अपने मालिकों के प्रति अपना लगाव खुलकर नहीं दिखातीं। लेकिन वैज्ञानिक अनुसंधानों ने यह खुलासा किया है, कि इंसानों और बिल्लियों के बीच एक खास तरह का जुड़ाव होता है, जो हमारे ब्रेन केमिस्ट्री से संचालित होता है। इस रिश्ते का मुख्य आधार है, ऑक्सीटोसिन नामक हार्मोन, जिसे प्यार का हार्मोन भी कहा जाता है।
ऑक्सीटोसिन हार्मोन इंसानों सहित कई जानवरों में सामाजिक बंधन, विश्वास और तनाव नियंत्रण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह हार्मोन तनाव पैदा करने वाले कोर्टिसोल हार्मोन को दबाता है और पैरासिम्पैथेटिक नर्वस सिस्टम को सक्रिय करता है, जिससे शरीर को आराम मिलता है। लंबे समय से यह जाना जाता था, कि कुत्तों और उनके मालिकों के बीच दोस्ताना इंटरैक्शन से ऑक्सीटोसिन रिलीज़ होता है, लेकिन बिल्लियों के बारे में यह बात अब जाकर सामने आई है।
जापानी शोध ने किया बड़ा खुलासा-
साल 2021 में जापानी शोधकर्ताओं ने एक महत्वपूर्ण अध्ययन किया, जिसमें पाया गया कि बिल्लियों को थोड़ी देर सहलाने से उनके मालिकों में ऑक्सीटोसिन का स्तर बढ़ जाता है। इस अध्ययन में महिलाओं ने अपनी बिल्लियों के साथ कुछ मिनट इंटरैक्ट किया, जबकि वैज्ञानिकों ने उनके हार्मोन लेवल को मापा। परिणामों से पता चला कि बिल्लियों को सहलाने और उनसे बात करने जैसे दोस्ताना संपर्क से मनुष्यों की लार में ऑक्सीटोसिन का स्तर बढ़ गया, जबकि बिना बिल्ली के शांत अवधि की तुलना में यह अंतर स्पष्ट था।
क्या आपने कभी महसूस किया है कि सड़क पर किसी आवारा बिल्ली को सहलाने पर भी कितना अच्छा लगता है? इस अनुभूति के पीछे भी विज्ञान है। साल 2002 के एक अध्ययन में पाया गया कि बिल्लियों को धीरे से सहलाने से मिलने वाला ऑक्सीटोसिन रश कोर्टिसोल के स्तर को कम करता है, जिससे ब्लड प्रेशर और दर्द में कमी आती है। यह खोज बताती है कि बिल्लियों के साथ बिताया गया समय सिर्फ मनोरंजन नहीं, बल्कि आपके स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद भी है।
कब रिलीज़ होता है यह लव हार्मोन-
शोधकर्ताओं ने यह भी पता लगाया, कि इंसान और बिल्ली के रिश्ते में कुछ खास पलों में ऑक्सीटोसिन रिलीज़ होता है। सबसे सामान्य स्थिति है कोमल शारीरिक संपर्क। साल 2025 के एक ताज़ा अध्ययन में पाया गया, कि जब मालिक अपनी बिल्लियों को सहलाते हैं, उन्हें गोद में लेते हैं या गले लगाते हैं, तो दोनों में ऑक्सीटोसिन का स्तर बढ़ता है। शोधकर्ताओं ने घर पर मालिकों के साथ 15 मिनट के खेल और गले मिलने के दौरान बिल्लियों में ऑक्सीटोसिन की निगरानी की।
दिलचस्प बात यह है, कि जब बिल्लियां खुद पहल करके गोद में बैठतीं या अपने मालिक को ध्यान आकर्षित करने के लिए धक्का देतीं, तो लव हार्मोन में वृद्धि अधिक होती थी और समय के साथ यह बढ़ती जाती थी। यह साबित करता है, कि बिल्ली और इंसान के बीच का यह बंधन दोतरफा है, जहां दोनों ही एक दूसरे से भावनात्मक रूप से जुड़े होते हैं।
हर बिल्ली का अपना स्वभाव-
हालांकि, यह बात हर बिल्ली पर लागू नहीं होती। जो बिल्लियां शारीरिक संपर्क पसंद करती हैं, उनके लिए यह पैटर्न सही है, लेकिन जिन बिल्लियों का स्वभाव अलग रहने वाला या चिंतित है, उनमें अलग पैटर्न देखा गया। उसी अध्ययन में पाया गया, कि जो बिल्लियां अलग रहना पसंद करती हैं, उनमें ऑक्सीटोसिन में कोई बदलाव नहीं हुआ, जबकि चिंतित स्वभाव वाली बिल्लियों में शुरू से ही ऑक्सीटोसिन का स्तर ऊंचा था।
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कुत्तों की तरह बिल्लियां भी हैं खास-
इन सभी शोधों से यह स्पष्ट हो जाता है, कि कुत्तों की तरह बिल्लियां भी प्यार के बंधन का हिस्सा हैं। वे अपने विश्वास और ध्यान से इंसानों में लव हार्मोन बढ़ाती हैं और उनके दिमाग को प्रभावित करती हैं। भले ही बिल्लियां अपना प्यार कुत्तों की तरह खुलकर न दिखाएं, लेकिन वे अपने मालिकों के साथ गहरा भावनात्मक संबंध बनाती हैं। यह रिश्ता न केवल मानसिक स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है, बल्कि शारीरिक स्वास्थ्य पर भी सकारात्मक प्रभाव डालता है।
अगली बार जब आप अपनी बिल्ली को गोद में लें या किसी सड़क की बिल्ली को प्यार से सहलाएं, तो याद रखें, कि आपका दिमाग उस पल एक खूबसूरत केमिकल रिएक्शन से गुज़र रहा है। बिल्लियों की म्याऊं सिर्फ एक आवाज़ नहीं, बल्कि आपके दिल और दिमाग को छूने का एक माध्यम है।
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